“झारखंड के जनजातीय कलाकारों को मिलेगी अंतरराष्ट्रीय पहचान: मंत्री चमरा लिंडा”
झारखंड के जनजातीय कलाकारों को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने के लिए झारखंड सरकार प्रतिबद्ध है। राज्य के कल्याण मंत्री चमरा लिंडा ने यह बात कही है, और उन्होंने रांची में आयोजित जनजातीय चित्रकार शिविर का उद्घाटन किया है।
इस शिविर में झारखंड के विभिन्न हिस्सों से आए वरिष्ठ और युवा जनजातीय चित्रकार भाग ले रहे हैं। वे अपने चित्रों के माध्यम से स्वतंत्रता संग्राम के महानायकों की गाथाओं को जीवंत रूप देंगे।
चित्रकला की विभिन्न शैलियों, जैसे सोहराई, कोहबर, पिठौरा, गोंड, वारली और अन्य जनजातीय कला रूपों का प्रयोग किया जाएगा, जिससे झारखंड की समृद्ध कला परंपरा को भी बल मिलेगा।
इस शिविर का मुख्य उद्देश्य झारखंड की वीरभूमि से जुड़े जनजातीय स्वतंत्रता सेनानियों के संघर्ष और योगदान को चित्रों के माध्यम से जीवंत करना है। यह शिविर 29 जनवरी से 1 फरवरी 2025 तक आयोजित किया जाएगा।